How to Control Anger Issues in Children: हम सभी कभी ना कभी अपने गुस्से को दिखाते जरूर हैं। यह एक नार्मल इमोशन है। परन्तु जब यह गुस्सा हद से ज्यादा बढ़ जाता है तो हमारा ही नुकसान हो जाता है। आजकल आप देंखे तो पायेंगे कि जो व्यक्ति जितना ज्यादा डिजिटल उपकरणों से घिरा हुआ है या बहुत ज्यादा गैजेट्स का इस्तेमाल करता है, उसको उतना ज्यादा ही गुस्सा आता है।
इनमें आप बच्चों की एक्टिविटी को देख सकते हैं। वर्तमान में बच्चों को माता -पिता के द्वारा स्मार्टफ़ोन या कुछ गैजेट्स इस्तेमाल करने के लिए दे दिया जाता है जिसके बाद बच्चा सिर्फ उस डिजिटल गैजेट को इस्तेमाल करता है। इससे बच्चे को उस गैजेट की आदत लग जाती है।
बाद में जब उससे स्मार्टफोन को या दूसरे डिजिटल गैजेट्स को बन करने या दूर रखने के लिए बोला जाता है तो हमें बच्चे का गुस्सा और चिड़चिड़ापन दिखाई देता है। इस पोस्ट में हम बच्चों के गुस्से के कुछ कारणों और उनके ठोस उपायों के बारे में बात करेंगे। जिससे बच्चे अपने बचपन को पूरी तरह से जियें और उनमें क्रोध कम से कम हो।
How to Control Anger Issues in Children: बच्चों में ज्यादा गुस्से को कैसे कम करें
बच्चों में गुस्सा आना एक सामान्य बात है। लेकिन यह गुस्सा तब एक समस्या बन जाता है जब आपके बच्चे का गुस्सा बहुत ही आक्रामक हो जाता है। इसके पीछे कुछ वजह हो सकती है कि आखिर आपका बच्चा इतना गुस्से में क्यों रहने लगा है? ऐसे कई कारण हो सकते हैं जिनकी वजह से आपका बच्चा दूसरे बच्चों से ज़्यादा गुस्सा करने लगा हो।
बच्चों में गुस्सा आने के कुछ प्रमुख कारण
- तनाव: हो सकता है कि बच्चे को किसी बात की चिंता, होमवर्क ना पूरा होने का डर हो जिसके कारण वो टेंशन में आ सकते हैं और उनका गुस्सा बढ़ सकता है।
- पेरेंट्स का व्यवहार: अगर आपका बच्चा परिवार के सदस्यों में ही मारपीट और गुस्से को देखता है तो यह आदत वह भी अपना सकता है। क्यूकि बच्चा जो देखता है वह बहुत ही जल्दी सीखता है और समझाने बातों को उतनी जल्दी नहीं मानता है। इसलिए सभी माता-पिता को चाहिए कि बच्चे के सामने तो बिल्कुल ही ना लड़ें और कोशिश करें कि लड़ने की नौबत ही ना आये।
- पीयर प्रेशर: जब बच्चे स्कूल जाने लगते हैं तो वहाँ पर दोस्त बनाते हैं। परन्तु उन्हीं दोस्तों की आदतों का प्रभाव कभी ना कभी बच्चे पर पड़ता ही है। इन आदतों के कारण भी आपका बच्चा गुस्सैल स्वभाव वाला बन सकता है।
- स्कूल की समस्याएं: अक्सर हमें बुलिंग की घटनायें सुनने को मिलती हैं। स्कूल में होने वाली बुलिंग, दोस्तों के साथ लड़ाई भी गुस्से का कारण बन सकती हैं।
कभी कभी ये भी हो सकता है कि आपके बच्चे को यह पता ही नहीं होता कि उन्हें गुस्सा क्यों आ रहा है। ऐसे में एक पेरेंट्स होने के नाते यह आपकी जिम्मेदारी है कि आप पता लगाए कि बच्चे के ज्यादा गुस्से का कारण क्या हो सकता है। (How to Control Anger Issues in Children)
अगर आप यह पता लगा लेते हैं कि आपके बच्चे को इतना ज्यादा गुस्सा क्यों आ रहा है तो उस गुस्से को कम करने की जिम्मेदारी भी आपकी ही है। इसके लिए आप कुछ उपाय अपना सकते हैं और उसके गुस्से को कम करने में मदद कर सकते हैं।
बच्चे के गुस्से को कम करने के कुछ उपाय
- सही कारण जानना: जब भी बच्चा हद से ज्यादा गुस्सा करें तो बच्चे के गुस्से के पीछे के सही कारणों को समझने की कोशिश करें। यदि आप सही कारण का पता लगा लेंगे तो आप उस कारण को दूर करके बच्चे के गुस्से को कम कर सकते हैं।
- माइंड डाइवर्ट करना : जब भी आप बच्चों में ज्यादा गुस्सा देंखे तो कोशिश करें कि उनको दूसरी किसी एक्टिविटी में व्यस्त करने का प्रयास करें। इससे उसकी दूसरी एक्टिविटी भी डेवलप होती है।
- पॉजिटिव रहें: अपने बच्चों के साथ हमेशा पॉजिटिव बिहेवियर बनाये रखें। इससे बच्चा अपने मन की बात आपसे कहने में कभी भी संकोच नहीं करेगा और आप बच्चे की सही तरीके से परवरिश कर पायेंगे।
- धार्मिक उपाय करना: हम भारत में रहते हैं। इस देश में लोग पूजा पाठ पर भी विशेष ध्यान देते हैं। हमारे प्राचीन धर्मग्रंथो में भी यह लिखा है कि संस्कृत के मंत्र और श्लोक हमारी मानसिक चेतना को तेज करने का काम करते हैं। ऐसे में हमें गीता, हनुमान चालीसा का पाठ या वेदों को भी पढ़ना चाहिए। इसमें लिखे मंत्र हमारे दिमाग पर असर करते हैं और हमारे अंदर से गुस्सा धीरे धीरे कम होने लगता है।
- योग और ध्यान: बच्चों केअंदर योग और ध्यान की आदत को विकसित करना चाहिए। उनके साथ -साथ खुद भी योग करना चाहिए। इससे आपके बच्चे के अंदर योग करने की आदत का विकास होगा और उसका मन शांत होने लगेगा। जिसका प्रभाव ये होगा कि एक समय के बाद उसका गुस्सा कम हो जायेगा।
- म्यूजिक सुनना: यदि आपके बच्चे को म्यूजिक सुनना अच्छा लगता है तो उसे म्यूजिक सुनने के लिए प्रोत्साहित कीजिये। संगीत सुनने से गुस्सा काफी हद तक शांत होने लगता है।
- अच्छी नींद लेना: आजकल की भागदौड़ भरी जिंदगी में पर्याप्त नींद लेना सबसे मुश्किल काम है। लोग काम में इतने व्यस्त हैं कि उनके पास अच्छी नींद लेने के लिए समय नहीं है। यदि आपका बच्चा भी पूरी नींद नहीं ले पा रहा है तो उसके अंदर गुस्सा और चिड़चिड़ापन बढ़ सकता है। ऐसे में आपको ये ध्यान रखना है कि आपका बच्चा पूरी नींद ले। यदि आपक बच्चा नींद लेने लगता है तो कुछ ही समय में उसका गुस्सा काफी हद तक कम हो जायेगा।
अगर आप सभी उपाय अपनाकर देख चुके हैं और आपके बच्चे में गुस्सा कम होने की बजाय बढ़ता ही जा रहा है तो इसे अनदेखा ना करके जल्द से जल्द किसी एक्सपर्ट डॉक्टर से मिले और सही सलाह लें। बच्चों के अंदर गुस्से का बढ़ना आगे चलकर उनके अंदर कई बीमारियों को जन्म दे सकता है। इनमें स्ट्रेस, डिप्रेशन, हाई बी. पी. आदि मुख्य हैं।
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